नोएडा। नोएडा पुलिस ने एक फर्जी पुलिसकर्मी को गिरफ्तार कर ठगी के एक गिरोह का पर्दाफाश किया है। गिरफ्तार आरोपी खुद को फर्जी पुलिस अधीक्षक और जिला कलेक्टर बताकर वारदात को अंजाम देता था। पीड़ित से वादा करता था कि वह आरोपी को कम से कम छह महीने की जेल कराकर दम लेगा। अगर ऐसा नहीं कर पाया तो पैसा वापस कर देगा। डीसीपी सेंट्रल नोएडा शक्ति मोहन अवस्थी ने बताया कि बीते दिनों सेक्टर-63 थाना में रहने वाले एक शख्स अपनी पत्नी के साथ सब्जी खरीदकर कमरे पर जा रहा था। इसी दौरान रास्ते में एक व्यक्ति उस शख्स और उसकी पत्नी से गाली गलौज करने लगा। विरोध करने पर आरोपी ने पीड़ित के साथ मारपीट की और जान से मारने की धमकी दी। इसके बाद पीड़ित ने इसकी शिकायत सेक्टर-63 थाने की पुलिस से की। इस घटना के बाद पीड़ित शख्स के पास अनजान नंबर से एक कॉल आई। कॉल करने वाले ने खुद को जिला कलेक्टर बताते हुए एफआईआर संबंधी जानकारी दी। कॉल करने वाले ठग ने कहा कि मामले में आरोपी की गिरफ्तारी कर उसे कम से कम छह महीने के लिए जेल भेजा जाएगा। अगर पीड़ित शख्स तुरंत तीन हजार रुपये ऑनलाइन ट्रांसफर करता है तो पुलिस की गाड़ी आरोपी को गिरफ्तार करने अभी निकल पड़ेगी। जब पीड़ित ने ऑनलाइन भुगतान करने से इनकार किया तो जिला कलेक्टर बने ठग ने गाली गलौज की और मुकदमा में कोई कार्रवाई न होने की धमकी दी। पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार करने के लिए एक विशेष टीम बनाई। टीम ने आरोपी 24 वर्षीय धीरेंद्र यादव को उसके निवास स्थान मध्य प्रदेश के टीकमगढ़ से शुक्रवार को गिरफ्तार कर लिया। धीरेंद्र को सक्रिय सिम उपलब्ध कराने वाले पुष्पेंद्र यादव को भी पुलिस ने वांछित बनाया है और उसकी गिरफ्तारी के लिए टीमें दबिश दे रही हैं। यूपी कॉप से आरोपी एफआईआर निकालकर पीड़ितों को कॉल करता था।